राज्यकर विभाग में एक बार पदोन्नति छोड़ने वालों को भविष्य में दोबारा ज्येष्ठता के आधार पर पदोन्नति नहीं मिलेगी।
इतना ही नहीं संबंधित अधिकारी व कर्मचारी को यह लिखकर देना होगा कि उसे पदोन्नति क्यूं नहीं चाहिए और विभागीय पदोन्नति कमेटी की बैठक (डीपीसी) में उसके नाम पर विचार न किया जाए। राज्य कर विभाग के इस फैसले को कड़ाई से लागू करने के लिए सभी जोनल अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश भेज दिया गया है। कार्मिक विभाग ने चयन वर्ष 2025-26 के लिए रिक्त पदों पर डीपीसी कराने का निर्देश विभागाध्यक्षों को दिया है। पदोन्नति पाने के लिए कर्मियों को नियमत: गोपनीय रिपोर्ट तय समय पर विभागों में जमा करना होता है। महत्वपूर्ण पदों पर तैनात रहने वाले कर्मचारी व अधिकारी उसी पद पर बने रहने के लिए सभी इंट्रियां जानबूझकर समय से जमा नहीं कराते हैं। इसीलिए तय किया गया है कि पदोन्नति लेने से इनकार करने वाले कार्मिकों को अब इस संबंध में स्पष्ट रूप से लिखकर देना होगा।
21 पीपीएस अफसर जल्द बनेंगे आईपीएस
लखनऊ। यूपी के 21 पीपीएस अफसर आईपीएस पद पर प्रोन्नत कर दिए जाएंगे। ये अफसर 1996, 1997, 1998 बैच के हैं। मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह व प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद नई दिल्ली में डीपीसी में शामिल हुए थे। इसमें 21 अफसरों के नाम पर सहमति बनी। चार पीपीएस शैलेन्द्र श्रीवास्तव, वीरेन्द्र कुमार, कमल किशोर व सुरेश चन्द्र रावत के नाम पर विचार नहीं किया गया।
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